अपने हाथ से मेरा हाथ मजबूत करें: सरफराज सिद्दीकी
नई दिल्ली। दिल्ली बार कौंसिल चुनाव 2018 के लिए आज एडवोकेट सरफराज अहमद सिद्दीकी ने सिरी फोर्ट स्थित बार कौंसिल के कार्यालय में जाकर अपना नामांकन पत्र भरा। अपने सैकडों साथियों के साथ वे आज सुबह अपने डिफेंस काॅलोनी स्थित आवास से गाडियों के काफिला के साथ बार कौंसिल कार्यालय पहुंचे। वहां उपस्थित वकीलों ने जीत के नारे लगाए। एडवोकेट सरफराज अहमद सिद्दीकी को सभी ने फूलमाला पहनाया। मिठाइयां बांटी।
नामांकन के बाद एडवोकेट सरफराज अहमद सिद्दीकी ने कहा कि इतिहास गवाह है कि हमारी बिरादरी ने हमेशा ही लोकतांत्रिक मूल्यों की बात की है। लोकतंत्र की स्थापना के लिए लडाईयां लडी हैं। अंग्रेजों ने जब हमारे देश को गुलाम बनाया, तो वकीलों ने इंसाफ की लडाई की। महात्मा गांधी, जवाहर लाल नेहरू, बी आर अंबेडकर, हाफिज मोहम्मद इब्राहिम और सरदार पटेल जैसे वकीलों ने हमारे फ्रीेडम मूवमेंट को लीड किया। मैंने अपना नाॅमिनेशन आज मोह, माया, सत्ता की लीडरशीप के लिए नहीं कराया है, बल्कि आज के दौर में जो समाज के हर तबके को, हर वर्ग को संपूर्ण इंसाफ दिलाने की जरूरत है, उस प्रयास में वकीलों के योगदान को संयोजित करने और लीड करने के लिए किया है।
एक सवाल के जवाब में एडवोकेट सरफराज अहमद सिद्दीकी ने कहा कि मेरा मुकाबला जिन योग्य बार के दोस्तों से समझा जा रहा है। वो दरअसल मुकाबला नहीं है, बल्कि उन्हें साथ लेकर चलने का एक प्रयास है। उन्होंने कहा कि सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण बार मूवमेंट को खडा करना है। हम सबकी बिरादरी एक है और वो न्याय की बिरादरी है। उस बिरादरी की पहचान सत्य की वकालत है और इसीलिए हमें वकील कहा जाता है। मैं आपसे आपका वोट की वकालत के बजाय आपके कर्तव्य और प्रोफेशनल उद्देश्य की वकालत करना चाहूंगा। अपने हाथ से मेरा हाथ मजबूत करें।
नामांकन के दौरान उपस्थित वकीलों ने बार कौंसिल में परिवर्तन की बात की। नए चेहरों को लाने की वकालत की। परमपिता को शुक्रिया करते हुए और अपनी खुशी को बांटते हुए हजारों लोगों को दिनभर प्रसाद बांटा गया।
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