नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस ने बिजनेस लोन व इंश्योरेंस के नाम पर दिल्ली एनसीआर सहित देश भर के हजारों लोगों को ठगी का शिकार बनाने वाले एक फर्जी कॉल सेंटर का खुलासा किया है। मामले में 9 महिला आरोपी सहित 15 आरोपियों की गिरफ्तारी हुई है। निःसंदेह यह दिल्ली पुलिस की एक बड़ी कामयाबी है।
यह कामयाबी मिली है, साउथ वेस्ट डिस्ट्रिक्ट के डीसीपी गौरव शर्मा के मार्गदर्शन, डिस्ट्रिक्ट ऑपरेशन सेल के ACP अभिनेन्द्र जैन के निर्देशन तथा डिस्ट्रिक्ट AATS के इंचार्ज इंस्पेक्टर राजेश मलिक के नेतृत्व में गठित एक विशेष पुलिस टीम को। पुलिस टीम में सब इंस्पेक्टर गौतम व महेश सहित आधा दर्जन से ज्यादा अनुभवी पुलिसकर्मी शामिल थे।
बता दें कि राजधानी के सागरपुर इलाके में इस साल के मार्च महीने से संचालित इस फर्जी कॉल सेंटर के मुख्य मास्टरमाइंड भाई-बहन हैं, जो इस रैकेट में बतौर पार्टनर थे।
पकड़े गए आरोपीगण फर्जी कॉल सेंटर के जरिये अपने शिकार को दो लाख से 50 हज़ार रुपये तक का बिजनेस लोन देने का ऑफर करते थे। इसमे सात फीसदी की ब्याज दर से यह लोन देने की बात करते थे। जब कोई शिकार इनकी झांसे में आ जाता, तो यह लोन देने के बाद उसे सुरक्षित रखने के लिए इंश्योरेंस का जाल बिछाते थे। इसमे प्रोसेसिंग फीस और अन्य चार्ज के नाम पर लोगों (शिकार) को ठगा जाता था।
पकड़े गए आरोपियों से ठगी में इस्तेमाल 14 मोबाइल फोन, एक डेस्कटॉप, फर्जी लोन एग्रीमेंट, दस्तावेज सहित कुछ अन्य सामानों की बरामदगी हुई है।
बहरहाल पुलिस टीम की तफ्तीश जारी है।